रांची : झारखंड विधानसभा चुनाव के दूसरे और आखिरी चरण के लिए 20 नवंबर को जिन 38 सीटों पर वोट डाले जाने हैं, उनमें से 10 कद्दावर राजनेताओं की हॉट सीटों पर सबकी निगाहें टिकी हैं। इनमें सीएम हेमंत सोरेन, राज्य के पहले सीएम और भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी, झामुमो की स्टार प्रचारक कल्पना सोरेन, आजसू पार्टी के प्रमुख सुदेश महतो, राज्य सरकार के चार मंत्रियों इरफान अंसारी, दीपिका पांडेय सिंह, हफीजुल हसन और बेबी देवी, विधानसभा के अध्यक्ष रबींद्रनाथ महतो और विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी की सीटें शामिल हैं।
सबसे बड़ी हॉट सीट है साहिबगंज जिले का बरहेट, जहां से मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन बतौर झामुमो प्रत्याशी तीसरी बार मैदान में हैं। उनका मुकाबला आजसू छोड़कर भाजपा में आए प्रत्याशी गमालियल हेम्ब्रम से है। गमालियल को बतौर आजसू प्रत्याशी 2019 के विधानसभा चुनाव में केवल 2573 वोट मिले थे। 2019 के विधानसभा चुनाव में इस सीट पर भाजपा ने साइमन मालतो को उम्मीदवार बनाया थ, जिन्हें 48 हजार से अधिक वोट मिले थे। इस बार भाजपा ने साइमन मालतो का टिकट काट दिया, तो वे नाराज होकर झामुमो में शामिल हो गए हैं और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के प्रचार अभियान की कमान संभाल रहे हैं।
गिरिडीह जिले की धनवार सीट पर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी बतौर मैदान में हैं। इस सीट पर इंडिया गठबंधन की एकता दरकी है और यहां से झामुमो और भाकपा माले गठबंधन के दोनों दलों ने अपने प्रत्याशी उतारे हैं। भाकपा माले ने राजकुमार यादव को और झामुमो ने निज़ामुद्दीन अंसारी को उम्मीदवार बनाया है। भाजपा के वोटों में सेंधमारी कर रहे निर्दलीय प्रत्याशी निरंजन राय ने गृह मंत्री अमित शाह के समक्ष भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली है और प्रचार अभियान के आख़िरी दौर में वे बाबूलाल मरांडी के साथ घूम- घूमकर उनके लिए वोट मांग रहे हैं।
तीसरी हॉट सीट है गिरिडीह जिले का गांडेय, जहां से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पत्नी और झामुमो की सुपर स्टार प्रचारक कल्पना सोरेन मुर्मू मैदान में है। भाजपा ने इनके खिलाफ गिरिडीह जिला परिषद् की अध्यक्ष मुनिया देवी को मैदान में उतारा है। मुस्लिम और आदिवासी बहुल मतदाताओं वाली इस सीट पर सिर्फ एक बार 2014 में भाजपा प्रत्याशी जयप्रकाश वर्मा को जीत हासिल हुई थी।
जामताड़ा की गिनती भी राज्य की हॉट सीटों में हो रही है, जहां से हमेशा अपने बयानों की वजह से विवादों में रहनेवाले कांग्रेस उम्मीदवार और हेमंत सरकार के नए नवेले मंत्री इरफ़ान अंसारी हैट्रिक की उम्मीद के साथ मैदान में हैं। इन्हें सोरेन परिवार की बहू और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की भाभी सीता सोरेन कड़ी टक्कर डे रही हैं। कुछ दिनों पूर्व इरफ़ान अंसारी द्वारा सीता सोरेन के ऊपर की गयी एक व्यक्तिगत एवं आपत्तिजनक टिप्पणी के बाद से इरफ़ान अंसारी डिफेंसिव हैं और भाजपा हमलावर।
आजसू प्रमुख सुदेश महतो की उम्मीदवारी के कारण रांची जिले के सिल्ली सीट की गिनती भी राज्य की हॉट सीटों में होती है। 2014 को छोड़कर 2000 से 2019 तक सुदेश महतो का इस सीट पर कब्ज़ा रहा है। 2014 में झामुमो उम्मीदवार के तौर पर अमित महतो ने उनसे यह सीट छीनी थी। झामुमो ने एक बार फिर अमित महतो को प्रत्याशी बनाया है। सुदेश और अमित के बीच आमने-सामने के इस मुकाबले को जेएलकेएम (झारखंड लोकतांत्रिक क्रांतिकारी मोर्चा) के देवेंद्र महतो त्रिकोणीय बनाने का प्रयास कर रहे हैं।
झारखंड विधानसभा अध्यक्ष रविन्द्र नाथ महतो नाला सीट से चुनावी मैदान में हैं जहां भाजपा ने पिछले चुनाव में आजसू के टिकट पर चुनाव लड़ चुके माधव चन्द्र महतो को उम्मीदवार बनाया है। 2019 का चुनाव भाजपा और आजसू ने अलग – अलग लड़ा था। भाजपा उम्मीदवार को करीब 57 हजार और आजसू प्रत्याशी को 16 हज़ार से अधिक वोट मिले थे। इस बार भाजपा और आजसू साथ- साथ हैं।
झारखंड विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष अमर कुमार बाऊरी चंदनकियारी सीट से भाग्य आजमा रहे हैं। उनका मुकाबला झामुमो के उमाकांत रजक से है, जो आजसू छोड़कर झामुमो में आये हैं।
गोड्डा जिले की महगामा सीट पर हेमंत सोरेन सरकार में कांग्रेस कोटे की मंत्री दीपिका पांडेय सिंह का भाजपा के अशोक भगत से सीधा मुकाबला है। देवघर जिले की मधुपुर सीट पर झामुमो कोटे के मंत्री हफीजुल हसन को भाजपा के गंगा नारायण सिंह से कड़ी चुनौती मिल रही है। हेमंत सरकार की एक अन्य मंत्री बेबी देवी डुमरी सीट पर त्रिकोणीय मुकाबले में फंसी हैं। उन्हें आजसू पार्टी की यशोदा देवी और झारखंड लोकतांत्रिक क्रांतिकारी मोर्चा (जेएलकेएम) के फायर ब्रांड लीडर जयराम महतो चुनौती दे रहे हैं।
इनके अलावा इस चरण के महत्वपूर्ण उम्मीदवारों में भाजपा विधायक दल के मुख्य सचेतक बिरंची नारायण बोकारो से, सचेतक अनंत ओझा राजमहल से, झाविमो छोड़ कांग्रेस में आये प्रदीप यादव पोडैयाहाट से, भ्रष्टाचार के आरोप में जेल में बंद पूर्व मंत्री आलमगीर आलम की पत्नी निशात आलम पाकुड़ से, झामुमो के बागी और भाजपा उम्मीदवार लोबिन हेम्ब्रम बोरियो से, भाकपा माले नेता विनोद सिंह बगोदर से, मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन के करीबी सुदिव्य सोनू गिरिडीह से, भाजपा छोड़ झामुमो का दामन थामनेवाले केदार हाजरा जमुआ से चुनाव मैदान में हैं, जिनपर लोगों की निगाहें टिकी हैं।