हजारीबाग (झारखंड): एनटीपीसी के डीजीएम कुमार गौरव की हत्या के मामले में हजारीबाग पुलिस को एक और बड़ी सफलता मिली है। पुलिस ने इस हाई-प्रोफाइल गौरव हत्याकांड में फरार चल रहे एक मुख्य आरोपी मुकेश साव उर्फ प्रभात उर्फ माइकल को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी की गिरफ्तारी के दौरान उसके पास से एक पिस्टल, दो जिंदा कारतूस, तीन मोबाइल फोन और एक चोरी की बाइक बरामद की गई है।
गुप्त सूचना के आधार पर की गई छापेमारी
पुलिस को इनपुट मिला था कि कुछ अपराधी भारी मात्रा में हथियार के साथ किसी बड़ी घटना को अंजाम देने की तैयारी में हैं। इसी आधार पर वरीय पुलिस अधिकारियों के निर्देश पर एक विशेष छापेमारी टीम का गठन किया गया। यह कार्रवाई कटकमदाग थाना क्षेत्र के ग्राम बेस के समीप की गई, जहां से मुकेश साव को हथियारों के साथ गिरफ्तार किया गया।
गिरफ्तार आरोपी की आपराधिक पृष्ठभूमि
36 वर्षीय आरोपी मुकेश साव लातेहार जिले के बारियातू थाना क्षेत्र के चेडरा गांव का निवासी है। पूछताछ में उसने NTPC DGM गौरव की हत्या में सक्रिय भूमिका स्वीकार की है। उसने खुलासा किया कि 8 मार्च 2025 को फतहा चौक पर हुई हत्या उसकी योजना और इशारे पर की गई थी। इसके अलावा उसने हजारीबाग, गिद्दी, बालूमाथ, डोरंडा, गिधौर, केरेडारी और कटकमसांडी थाना क्षेत्रों में हुई कई आपराधिक वारदातों में शामिल होने की बात भी कबूल की है।
NTPC DGM गौरव की हत्या: दिनदहाड़े हुई थी वारदात
8 मार्च 2025 को दिन के उजाले में हजारीबाग के फतहा चौक पर एनटीपीसी के सीनियर डीजीएम कुमार गौरव की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इस घटना ने पूरे राज्य में सनसनी फैला दी थी और राष्ट्रीय स्तर पर भी चर्चा का विषय बनी थी। हत्या के बाद NTPC ने कोयला उत्पादन कार्य रोक दिया था, जिसे बाद में सुरक्षा आश्वासन के बाद दोबारा शुरू किया गया।
गौरव हत्याकांड से जुड़ी अब तक की प्रगति
इस मामले में पूर्व में भी कई आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है, लेकिन मुकेश साव की गिरफ्तारी को इस केस की सबसे महत्वपूर्ण कड़ी माना जा रहा है। यह गिरफ्तारी पुलिस को पूरे आपराधिक नेटवर्क का भंडाफोड़ करने में मदद कर सकती है।
पुलिस की अगली रणनीति
कटकमदाग थाना प्रभारी पंकज कुमार ने गिरफ्तारी की पुष्टि करते हुए बताया कि आरोपी से पूछताछ जारी है और उसके सहयोगियों की तलाश की जा रही है। पुलिस अब इस गिरोह से जुड़े अन्य लोगों की पहचान कर उनके खिलाफ साक्ष्य जुटा रही है, ताकि पूरे नेटवर्क का पर्दाफाश किया जा सके।