Palamu News: झारखंड की चर्चित पलामू सेंट्रल जेल से लगभग 200 कैदियों को अन्य जेलों में शिफ्ट करने की तैयारी शुरू हो गई है। जेल प्रशासन ने बताया कि यह प्रक्रिया कई चरणों में और कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच पूरी की जाएगी।

जेल की क्षमता से अधिक कैदी बंद

पलामू सेंट्रल जेल में वर्तमान में करीब 925 कैदी बंद हैं, जबकि इसकी क्षमता केवल 760 कैदियों की है। अधिक संख्या में कैदी होने की वजह से प्रशासन ने 200 कैदियों को हजारीबाग सेंट्रल जेल भेजने का निर्णय लिया है। इनमें 300 से अधिक सजायाफ्ता कैदी शामिल हैं, जबकि कई कुख्यात नक्सली और अपराधी भी इसी जेल में बंद हैं।

फांसी की सजा पाए कैदी भी मौजूद

पलामू जेल में ऐसे तीन कैदी भी बंद हैं जिन्हें फांसी की सजा सुनाई जा चुकी है। इसके अलावा, कई नक्सली संगठन से जुड़े कैदियों और कुख्यात गैंगस्टरों की मौजूदगी के कारण यह जेल सुरक्षा के लिहाज से बेहद संवेदनशील मानी जाती है।

हाई-प्रोफाइल कैदियों के कारण चर्चा में

यह जेल हाल ही में इसलिए भी सुर्खियों में रही क्योंकि यहां PLFI सुप्रीमो दिनेश गोप, कुख्यात गैंगस्टर सुजीत सिन्हा और आत्मसमर्पण करने वाला गैंगस्टर डब्लू सिंह बंद हैं। इसके अलावा, कोयलांचल और जमशेदपुर से जुड़े कई हाई-प्रोफाइल अपराधी भी इसी जेल में रखे गए हैं।

प्रशासन की तैयारी और सुरक्षा व्यवस्था

जेलर आशीष कुमार ने पुष्टि की है कि कैदियों का स्थानांतरण जल्द शुरू किया जाएगा। उन्होंने बताया कि आईजी और डीआईजी स्तर से डीसी और एसपी को सुरक्षा को लेकर विशेष निर्देश जारी किए गए हैं। पलामू सेंट्रल जेल का इतिहास अंग्रेजों के शासनकाल से जुड़ा है और यह आज भी झारखंड की सबसे संवेदनशील और हाई-सिक्योरिटी जेलों में गिनी जाती है।

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